योजना विराम : केन्द्र में राजनीतिक अस्थिरता के चलते कई बार आगामी पंचवर्षीय योजना का मसौदा राष्ट्रीय विकास परिषद में अनुमोदित नहीं हो पाता और योजना लागू नहीं हो पाती. ऐसे में वार्षिक योजना बनाकर काम चलाया जाता है. इसे ‘योजना विराम’ कहते हैं.
भारत में ऐसा तीन बार हो चुका है- 1966 – 67 से 1968 – 69, 1978-79 से 1979-80 व 1990-91 से 1991-92.